यह मीटिंग होटल ग्रैंड हयात में चल रही है। विपक्षी गठबंधन कन्वीनर (संयोजक) का नाम दोपहर तक जारी कर सकता है। मीटिंग में प्रमुख विपक्षी पार्टी कांग्रेस के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि जैसे-जैसे I.N.D.I.A मजबूत होगा तो उसके सदस्यों पर छापे और गिरफ्तारियां भी बढ़ेंगी।
बैठक के पहले दिन 31 अगस्त को 28 दलों के नेता शामिल हुए थे। इन्होंने कहा था कि वे देश और संविधान को बचाने के लिए साथ आए हैं।
किसने क्या कहा?
कांग्रेसअध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे : BJP एजेंसियों पर पूरा कंट्रोल चाहती है। जैसे ही I.N.D.I.A मजबूत होगा, भाजपा हमारे नेताओं के खिलाफ एजेंसियों का दुरुपयोग करेगी। हमारी ताकत सरकार को परेशान करती है, इसलिए उसने संसद में कई बिलों को आगे बढ़ाया और हमारे सांसदों को निलंबित कर दिया।
भाजपा, RSS ने 9 सालों में जो सांप्रदायिक जहर फैलाया है, वह अब ट्रेन यात्रियों, स्कूली बच्चों के खिलाफ अपराधों में दिखने लगा है। हमें सरकार की बदले की राजनीति के कारण आने वाले महीनों में और ज्यादा हमलों, छापों और गिरफ्तारियों के लिए तैयार रहना चाहिए।
ये दल हैं I.N.D.I.A. का हिस्सा
गठबंधन में कांग्रेस, TMC, DMK, AAP, JDU, RJD, JMM, NCP (शरद गुट), शिवसेना (उद्धव गुट), SP, एनसी, PDP, CPM, CPI, RLD, MDMK, केएमडीके, वीसीके, आरएसपी, सीपीआई-एमएल (लिबरेशन), फॉरवर्ड ब्लॉक, आईयूएमएल, केरल कांग्रेस (जोसेफ), केरल कांग्रेस (मणि), अपना दल (कामेरावादी) और एमएमके शामिल हैं।
सीट बंटवारे को लेकर चर्चा, 11 सदस्यीय कोऑर्डिनेशन कमेटी: मुंबई में होने वाली तीसरी मीटिंग में सीटों के बंटवारे को लेकर चर्चा होनी है। इसमें 11 सदस्यीय कोऑर्डिनेशन कमेटी को भी अंतिम रूप दिया जाएगा। इसमें कांग्रेस, TMC, DMK, आप, JDU, RJD, शिवसेना (यूबीटी), NCP, झारखंड मुक्ति मोर्चा, समाजवादी पार्टी और CPI(M) से एक-एक सदस्य होंगे। गठबंधन में शामिल अन्य छोटे दलों को समिति में जगह नहीं मिलेगी।
एक संयुक्त सचिवालय की घोषणा: 2024 लोकसभा चुनावों को देखते हुए संयुक्त विरोध प्रदर्शनों और रैलियों को आयोजित करने के एक अन्य पैनल की घोषणा करने की भी संभावना है। पार्टी सूत्रों के मुताबिक, विपक्षी दलों के बीच बेहतर तालमेल बनाए रखने के लिए एक संयुक्त सचिवालय की भी जल्द घोषणा की जाएगी।
राज्यों में आपसी मतभेद को दूर करना होगा: बैठक के दौरान सभी पार्टियों के आपसी मतभेद को दूर किया जाएगा। खासकर उन राज्यों में जहां वे सीधे चुनावी लड़ाई में हैं। केरल में कांग्रेस और लेफ्ट, पश्चिम बंगाल में लेफ्ट और TMC, पंजाब और दिल्ली में AAP और कांग्रेस, उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी और कांग्रेस और जम्मू-कश्मीर में PDP और नेशनल कॉन्फ्रेंस एक-दूसरे के धुर-विरोधी हैं। ऐसे में इस मसलों को सुलझाना होगा
I.N.D.I.A के 26 दलों में से 14 पिछली बार 326 सीटों पर दूसरे नंबर पर थे
बैठक में सीट बंटवारे का फॉर्मूला प्रमुख मुद्दा है। सहमति इस बात पर है कि भाजपा के खिलाफ एक मजबूत उम्मीदवार हो। 2019 में जिस पार्टी का प्रत्याशी दूसरे नंबर पर था, उसे मजबूत दावेदार माना जाएगा। पिछली बार कांग्रेस 209, TMC 19, SP 31, RJD 19, NCP 15 सहित इंडिया के 26 में से 14 दल 326 सीटों पर दूसरे नंबर पर थे। BJD, YSRC, BRS जैसे जो दल साथ नहीं हैं, वहां ऐसे उम्मीदवार को मजबूत दावेदार माना जाएगा, जिससे भाजपा को फायदा न हो।
I.N.D.I.A के सियासी गणित में SC-ST और OBC इतने अहम क्यों
MP, UP, राजस्थान, छत्तीसगढ़, बिहार, बंगाल, तमिलनाडु, महाराष्ट्र, केरल और झारखंड में SC-ST 26.8% व OBC करीब 42% हैं। इन्हीं राज्यों में I.N.D.I.A के दल सरकार में हैं या मजबूत विपक्ष की भूमिका में हैं।
जिन राज्यों में कांग्रेस लड़ाई में है, वहां SC-ST को जोड़ने पर काम चल रहा है।।
लंबे समय से मायावती दलित राजनीति का चेहरा हैं, पर उनके घटते जनाधार से स्पेस बन गया है। 2019 के लोकसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी के साथ लड़ी BSP को 10 सीटें (3.7% वोट) मिलीं। 2014 में 4.2% वोट थे, पर एक भी सीट नहीं थी। 2017 में उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव में पार्टी को 22.2% वोट के साथ 19 सीटें मिलीं। 2022 में वोट घटकर 12.9% और सीट एक रह गई।
कर्नाटक में जीतने के बाद कांग्रेस में कोर वोट के लौटने का भरोसा जगा है। कर्नाटक में 17.15% दलित वोटर्स हैं। ऐसे में कांग्रेस दलित समुदाय से आने वाले खड़गे को मायावती की जगह प्रोजेक्ट कर रही है।
जातिगत जनगणना का समर्थन कर कांग्रेस इन वर्गों को साध रही है। दूसरी ओर, बिहार में जातिगत सर्वे पर भाजपा लगातार ऊहापोह में है।
पटना में 23 जून को विपक्षी पार्टियों की पहली बैठक के बाद जॉइंट प्रेस कॉन्फ्रेंस में आम आदमी पार्टी के नेता अरविंद केजरीवाल शामिल नहीं हुए। वे प्रेस कॉन्फ्रेंस से पहले ही दिल्ली के लिए रवाना हो गए। उनके जाने के बाद आम आदमी पार्टी ने स्टेटमेंट जारी करके कहा कि कांग्रेस केंद्र सरकार के काले अध्यादेश पर अपना रुख साफ करे, नहीं तो उनके साथ किसी भी बैठक में शामिल नहीं होंगे।
17-18 जुलाई को बेंगलुरु में हुई विपक्षी एकता की दूसरी बैठक में विपक्ष के 26 दल एक साथ आए। बैठक में विपक्षी दलों के गठबंधन का नाम INDIA तय किया गया। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा- भाजपा ने लोकतंत्र की सभी एजेंसियों ED, CBI आदि को नष्ट कर दिया है। हमारे बीच राजनीतिक भेद हैं, लेकिन हम देश को बचाने के लिए साथ आए हैं।
विपक्षी दलों के I.N.D.I.A. गठबंधन की तीसरी बैठक में सपा प्रमुख अखिलेश यादव, RLD प्रमुख जयंत चौधरी और अपना दल कमेरावादी की अध्यक्ष कृष्णा पटेल की मौजूदगी में यूपी की 80 लोकसभा सीटों के बंटवारे का प्लान पेश करेंगे। सूत्रों के मुताबिक, अखिलेश ने जो प्लान बनाया है उसमें 60% सीटें यानी 48 सीट खुद अपने लिए रखी है। जबकि 40% यानी 32 सीटें दूसरे दलों को देने का प्रस्ताव दिया है।
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